Monday, September 1, 2025

कीट नियंत्रण पर राष्ट्रीय स्तर का प्रशिक्षण लेकर लौटे दुर्ग के नदीम

तेजी से बढ़ रही फूड इंडस्ट्री में भविष्य की स्थिति
को देखते हुए किया मंथन, छत्तीसगढ़ में भी राष्ट्रीय
स्तर का प्रशिक्षण सत्र आयोजित करने होगी पहल

भिलाई : न्यूज़ 36 : भारत में भविष्य की खाद्य सुरक्षा के लिए कीट नियंत्रण (पेस्ट कंट्रोल) को लेकर पुणे में एक महत्वपूर्ण राष्ट्रीय प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया गया। जिसमें भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकरण (एफएसएसएआई) के अधीन खाद्य सुरक्षा प्रशिक्षण एवं प्रमाणन (फॉस्टैक) के विशेषज्ञों ने देश भर के प्रमुख कीट नियंत्रण सेवा प्रदाताओं को विशेष प्रशिक्षण दिया। राष्ट्रीय महत्व के इस प्रशिक्षण की पहल देश भर के पेस्ट कंट्रोल उद्योग की केंद्रीय संस्था प्राइम पेस्ट मैनेजमेंट एसोसिएशन ने की थी। जिसमें एसोसिएशन के छत्तीसगढ़ रीजन हेड और दुर्ग निवासी मोहम्मद मजहर नदीम ने भाग लिया और खाद्य सुरक्षा में पेस्ट कंट्रोल को लेकर भविष्य की स्थिति पर विशेषज्ञों के सम्मुख अपनी बातें रखीं। इस दौरान उन्होंने छत्तीसगढ़ में भी इस स्तर के प्रशिक्षण पर जोर दिया, जिससे राज्य में तेजी से बढ़ रही फूड इंडस्ट्री के समक्ष पेस्ट कंट्रोल की चुनौतियों से निपटा जा सके।
पुणे के अल्फा बचत भवन में आयोजित इस विशेष प्रशिक्षण सत्र में देश भर से खाद्य सुरक्षा मानकों को बेहतर बनाने के लिए प्रतिबद्ध 100 पेशेवर प्रतिभागियों ने हिस्सा लिया। प्रशिक्षण से लौटे मजहर नदीम ने बताया कि छत्तीसगढ़ सहित देशभर में तेजी से बढ़ रही फूड इंडस्ट्री को देखते हुए भविष्य की तैयारी जरूरी है। लेकिन छत्तीसगढ़ में फूड सेफ्टी सुपरवाइजर बनने प्रशिक्षण मॉड्यूल वर्तमान में नहीं है। मजहर नदीम ने बताया कि प्रशिक्षण के दौरान उन्होंने ‘एफएसएसएआई’ के अधीन ‘फॉस्टैक’ के प्रतिनिधियों से निवेदन किया है कि छत्तीसगढ़ में भी इसी तरह के प्रशिक्षण की व्यवस्था की जाए। जिस पर उन्हें सकारात्मक जवाब मिला है और जल्द ही इसका नतीजा देखने को मिल सकता है।

मजहर नदीम ने बताया कि ‘फॉस्टैक’ के प्रतिनिधियों के आश्वासन के अनुरूप खाद्य क्षेत्र में कीट प्रबंधन पर प्रशिक्षण की पहल होने पर भविष्य में फूड सेफ्टी सुपरवाइजर की भागीदारी सुनिश्चित होगी। इससे छत्तीसगढ़ में भोजन की गुणवत्ता में सुधार होगा और खाद्य से स्वास्थ्य संबंधी चुनौतियों से बेहतर और पेशेवर ढंग से निपटा जा सकेगा। मजहर नदीम ने बताया कि छत्तीसगढ़ में फूड प्रोसेसिंग और पर्यटन की असीम संभावनाएं हैं। फूड प्रोसेसिंग के क्षेत्र में भी पेस्ट कंट्रोल एक बड़ी चुनौती है। चूंकि राज्य सरकार भी फूड प्रोसेसिंग को बढ़ावा देने के लिए काम कर रही है, ऐसे में यहां पेशेवर ढंग से कीट प्रबंधन पर प्रशिक्षण से किसानों को भी बड़ी राहत मिलेगी, रोजगार का सृजन होगा और उद्योगों के क्षेत्र में सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम (एमएसएमई) की अहम भूमिका होगी। इसके अलावा, छत्तीसगढ़ में टूरिज्म को उद्योग बनाकर काम करने की योजना है, जिससे राज्य के विकास में मदद मिलेगी। प्रशिक्षण के समापन पर सभी प्रतिभागियों को प्रमाणपत्र प्रदान किया गया। इससे उन्हें अपने क्षेत्रों में उद्योग जगत की सर्वश्रेष्ठ कीट प्रबंधन (पेस्ट मैनेजमेंट) पद्धतियों को लागू करने का अधिकार मिल गया है। इस दौरान विषय विशेषज्ञ डॉ. सारंग और डॉ. अनिल मजगांवकर के नेतृत्व में प्रतिभागियों को खाद्य क्षेत्र में पेस्ट मैनेजमेंट के लिए आवश्यक व्यावहारिक ज्ञान, इसका पालन और प्रचलित तरीकों से परिचित कराया। प्रशिक्षण में इंपीरियल एपिक्योर एलएलपी की प्रवक्ता पूर्वा शर्मा ने कहा कि हमारा लक्ष्य ऐसे विशिष्ट प्रशिक्षण को एक सतत प्रयास बनाना है, जिससे भारत के खाद्य उद्योग की रीढ़ मजबूत हो। कीट प्रबंधन संघ के महासचिव अनूप करमाकर ने इस बात पर ज़ोर दिया कि कुशल कीट नियंत्रण प्रक्रिया खाद्य क्षेत्र के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं क्योंकि ये सुरक्षा, स्वच्छता और वैश्विक मानकों के अनुपालन को सुनिश्चित करती हैं।

आप की राय

[yop_poll id="1"]

Latest news
Related news